रंगदारी, धमकी और झूठे मुकदमे की साजिश: डिबाई पुलिस ने 10 आरोपियों के खिलाफ दर्ज की FIR

शिकायतकर्ता शारिक का फोटो
डिबाई क्षेत्र में रंगदारी वसूली और झूठे मुकदमे में फंसाने की गंभीर साजिश का मामला सामने आया है। एक व्यक्ति द्वारा दर्ज कराई गई रिपोर्ट में आरोप लगाया गया है कि एक महिला ने बलात्कार के झूठे आरोप में फंसाने की धमकी देकर 10 लाख रुपये की रंगदारी मांगी और लगातार मानसिक उत्पीड़न किया।
प्राप्त जानकारी के अनुसार, वादी के मोबाइल नंबर पर एक महिला, जिसने स्वयं को “निशा” बताया, ने बैंक से जुड़ा हुआ फर्जी व्हाट्सएप संदेश भेजा। बाद में महिला ने वादी से मुलाकात की और खुद को मुस्लिम समुदाय की बताते हुए चेयरमैन शफीक व अन्य लोगों से मदद दिलाने के नाम पर नजदीकियां बढ़ाईं। विश्वास जीतने के बाद वादी से पैसों की मांग शुरू कर दी और दो बार में लगभग 1.20 लाख रुपये ले भी लिए।
जब वादी ने और पैसे देने से इनकार कर दिया, तो महिला ने बलात्कार की झूठी रिपोर्ट कराने, जेल भेजने, परिवार की हत्या और बदनाम करने की धमकी दी। बाद में वादी ने जांच पड़ताल की तो ज्ञात हुआ कि ‘निशा’ असल में नजराना है और उसका नाम पहले भी वर्ष 2016 में झूठे मुकदमे को लेकर सामने आ चुका है।
वादी के अनुसार, नजराना के साथ मिलकर मुजाहिद, शकील, खलीक उर्फ पिंटू, लईक, जमीर उर्फ जमीर, समीर उर्फ सद्धाम, अब्दुल, नातिक और जुनैद ने संगठित तरीके से साजिश रचकर रंगदारी व झूठे मुकदमों का खेल रचा है।
प्रार्थी ने इस संबंध में कई बार उच्च अधिकारियों को शिकायती पत्र दिए, लेकिन कोई प्रभावी कार्रवाई नहीं हुई। अंततः डिबाई कोतवाली में वादी की तहरीर पर दिनांक 21 जुलाई 2025 को FIR संख्या 0490 दर्ज की गई है, जिसमें भारतीय न्याय संहिता 2023 की धाराएं 61(2), 308(4), 308(5), 308(7) के अंतर्गत मुकदमा पंजीकृत किया गया है।
पुलिस मामले की जांच में जुट गई है और आरोपियों की धरपकड़ के प्रयास शुरू हो चुके हैं। मामला संज्ञान में आने के बाद क्षेत्र में चर्चा का विषय बना हुआ है।








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